Cancer

कर्क राशि के जातकों के लिए साढ़ेसाती

कर्क राशि पर शनि की साढ़ेसाती किस प्रकार आती है? साढ़ेसाती का तात्पर्य है शनि ग्रह का किसी जातक की राशि के ऊपर सात साल और छह महीने तक रहना है। यह अवधि तीन भागों में विभाजित होती है: प्रथम चरण, द्वितीय चरण, और तृतीय चरण। प्रत्येक चरण लगभग ढाई साल का होता है, जिससे […]

कर्क राशि के जातकों के लिए साढ़ेसाती Read More »

Gemini

मिथुन राशि के जातकों के लिए साढ़ेसाती

शनि की साढ़ेसाती मिथुन राशि पर किस प्रकार आती है? साढ़ेसाती का तात्पर्य है शनि ग्रह का किसी जातक की राशि के ऊपर सात साल और छह महीने तक रहना है। यह अवधि तीन भागों में विभाजित होती है: प्रथम चरण, द्वितीय चरण, और तृतीय चरण। प्रत्येक चरण लगभग ढाई साल का होता है, जिससे

मिथुन राशि के जातकों के लिए साढ़ेसाती Read More »

वृष राशि के जातकों के लिए साढ़ेसाती

शनि की साढ़ेसाती वृष राशि पर किस प्रकार आती है? साढ़ेसाती का तात्पर्य है शनि ग्रह का किसी जातक की राशि के ऊपर सात साल और छह महीने तक रहना है। यह अवधि तीन भागों में विभाजित होती है: प्रथम चरण, द्वितीय चरण, और तृतीय चरण। प्रत्येक चरण लगभग ढाई साल का होता है, जिससे

वृष राशि के जातकों के लिए साढ़ेसाती Read More »

Shani Sadesati on Aries

मेष राशि के जातकों के लिए साढ़ेसाती

शनि की साढ़ेसाती मेष राशि पर किस प्रकार आती है? इस राशि में पहले भाव में चन्द्रमा है अर्थात मेष राशि पर चन्द्रमा है, इसलिए जातक की राशि मेष राशि है I इस राशि के जातक की साढ़ेसाती तब आरम्भ होगी जब शनि गोचर होकर मीन राशि पर आएगा I ये साढ़ेसाती तब तक रहेगी

मेष राशि के जातकों के लिए साढ़ेसाती Read More »

शनैश्चर तीर्थ व उनकी मान्यता

शनैश्चर तीर्थ व सिद्ध पीठ गोदावरी नदी के किनारे अश्वत्थ तीर्थ व् पिप्पल तीर्थ के साथ ही शनैश्चर तीर्थ भी है, जिसकी बड़ी महिमा है Iसंक्षिप्त ब्रह्मपुराण में कथा आती है कि विंध्य पर्वत नित्य ऊपर की ओर बढ़ रहा था I इस बात से देवता चिंतित हो गए ओर वे अगस्त्य मुनि के पास

शनैश्चर तीर्थ व उनकी मान्यता Read More »

shani aor uska svroop

वैदिक ज्योतिष के अनुसार शनि साढ़े साती की व्याख्या

शनि की साढ़ेसाती किस प्रकार आती है? सर्वप्रथम ये भली प्रकार समझना आवश्यक है की शनि की साढ़ेसाती किस प्रकार आती है I शनि की साढ़ेसाती का सीधा सम्बन्ध चंद्रमा से रहता है I जब भी शनि गोचर होकर चन्द्रमा स्थित राशि से पहले घर में आता है तो शनि की साढ़ेसाती आरम्भ हो जाती

वैदिक ज्योतिष के अनुसार शनि साढ़े साती की व्याख्या Read More »

shani aor uska svroop

शनि और उसका स्वरूप

शनि और उसका स्वरूप शनिदेव जी के स्वरूप, प्रकृति, कार्य क्षमता आदि के बारे में कहा जाता है की शनि देव क्रूर ग्रहों की श्रेणी में रखा गया है I आंग्ल भाषा में शनि को ‘SATURAN’ कहते हैं तो फ़ारसी में केदवान व् संस्कृत में असित , मंद , शनेश्चर, सूर्य पुत्र आदि नामो से

शनि और उसका स्वरूप Read More »

शनि अष्टोत्तरशत नामावली

शनि अष्टोत्तरशत नामावली ॐ शं शनिश्चराय नमःॐ शं शान्ताय नमःॐ शं सर्वाभिष्ट्प्रदायिने नमःॐ शं शरण्याय नमःॐ शं वरेण्याय नमःॐ शं सर्वेशाय नमःॐ शं सौम्याय नमःॐ शं सुरवन्द्याय नमःॐ शं सुरलोकविहारिने नमःॐ शं सौम्याय नमःॐ शं सुखासनोपविष्टाय नमःॐ शं सुन्दराय नमःॐ शं घनाय नमःॐ शं घनरूपाय नमःॐ शं घनसारविलेपनाय नमःॐ शं खद्योताय नमःॐ शं मन्दाय नमःॐ

शनि अष्टोत्तरशत नामावली Read More »

शनिवार व्रत – पूजन व् व्रत -कथा

शनि देव हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण देवता हैं। उन्हें न्याय के देवता और कर्मों के फल देने वाले देवता के रूप में पूजा जाता है। शनि देव सूर्य और छाया (संवर्णा/सवर्णा) के पुत्र हैं और नवग्रहों में से एक हैं, जो ज्योतिष में महत्वपूर्ण माने जाते हैं। शनि देव का वाहन गिद्ध या कौआ

शनिवार व्रत – पूजन व् व्रत -कथा Read More »

Scroll to Top