Avdheshanand Giri Maharaj Life lesson. We should be disciplined, civilized, polite and cultured, these things lead us to happiness | स्वामी अवधेशानंद जी गिरि के जीवन सूत्र: हमें अनुशासित, सभ्य, शिष्ट और सुसंस्कृत रहना चाहिए, ये बातें हमें आनंद की ओर ले जाती हैं


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हरिद्वार1 घंटे पहले

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हमें अपने स्वभाव में रहना चाहिए। आध्यात्मिक जीवन शैली अपनाएं। आध्यात्मिक जीवन शैली का अर्थ है अनुशासित होकर रहना। सभ्य, शिष्ट और सुसंस्कृत होकर रहना। जब आप आध्यात्मिक होते हैं, तब प्राकृतिक नियमों का पालन करते हैं। दूसरों का आदर करते हैं और हम में इच्छाओं का अभाव रहता है। हमारी यही प्रवृत्तियां धीरे-धीरे हमें अपने उसे स्वभाव की ओर लेकर जाती हैं, जहां आनंद है। हम मनुष्य हैं और मनुष्य परमात्मा से बना है। परमात्मा से मनु और मनु से हम मनुष्य बने हैं। इसलिए आप आनंद और प्रसन्नता के साथ रहने वाले प्राणी हैं।

आज जूनापीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद जी गिरि के जीवन सूत्र में जानिए जीवन में परमानंद कैसे मिल सकता है?

आज का जीवन सूत्र जानने के लिए ऊपर फोटो पर क्लिक करें।

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